जब तक सामने वाला उसे सही से समझ न जाए। कोरोना हराना घर में ही रहना तो इंसान है तू ही कविता बैराग अकेला इंसान ज़िन्दगी वक्त भरोसा रिश्ता चाहिए मां हमें

Hindi इंसान को अकेला ही रहना चाहिए Poems